Tuesday, August 4, 2020

दोस्ती

बारिश के मौसम में मिट्टी की सोंधी खुशबू है दोस्ती,
जून महीने की कड़कती गर्मी मे ए सी की ठंडक है दोस्ती।
नुक्कड़ में कुल्हड़ वाली चाय की चुस्की है दोस्ती,
ज़िन्दगी के व्यस्त रूटीन में फुर्सत के चंद लम्हे है दोस्ती।
उदास लम्हों में अपने खयाल से ला दे मुस्कुराहट वो है दोस्ती,
थिएटर जाकर पॉपकॉर्न का टब शेयर करना भी है दोस्ती।
मंदिर की सीढ़ियों पर घंटे की पावन अवाज़ है दोस्ती,
यादों की गलियों में मीठी सी कोई धुन है दोस्ती।
हर किटी के बाद कितने ही टॉपिक पर होने वाली गपशप है दोस्ती,
ज़िन्दगी के कमज़ोर लम्हों में मज़बूत बाहों का सहारा है दोस्ती।
आधी रात को भी बेधड़क किसी के घर की घंटी बजाना है दोस्ती,
किसी और के ग़म में खुद की आँखें नम हो जाना है दोस्ती।
अरिजीत सिंह की आवाज़ सा मीठा एहसास है दोस्ती,
ऑरेंज आइसक्रीम की ठण्डी ठंडी चुस्कियां हैं दोस्ती।
सुबह की ठंडी हवा मे ओस की मखमली चादर है दोस्ती,
सुनसान रातों को दिल को छूने वाली चुप्पी है दोस्ती,
भगवान की कृतियों में सबसे प्यारी कृति है दोस्ती।

5 comments:

  क्यों बदली सी लगती है दुनिया बहारों के ऑंगन में खेलती एक नन्ही गुड़िया, जमाने के ग़मों से बेख़बर, कितनी थी खूबसूरत उसकी छोटी सी दुनिया। आज जह...